सूचनाजी न्यूज, भिलाई। सीबीआई (CBI) जांच के बाद प्रशानिक कसावट के नाम पर बीएसपी नगर सेवा विभाग (BSP Municipal Service Department) द्वारा मात्र कर्मचारियों पर कार्यवाही और अधिकारियों को छूट का विरोध किया बीएसपी वर्कर्स यूनियन ने किया है।
अध्यक्ष उज्जवल दत्ता का कहना है कि नगर सेवा विभाग द्वारा सीबीआई जांच के उपरांत एक तरफा कर्मचारियों पर कार्यवाही पर भिलाई इस्पात संयंत्र के कर्मचारियों में जबरदस्त आक्रोश व्यक्त किया।
बीएसपी वर्कर्स यूनियन ने आम बीएसपी वर्कर्स की भावना का सम्मान करते हुए प्रबंधन से मांग रखी की वर्षों से नगर सेवा विभाग में काबिज अधिकारियों पर क्यों नहीं एक्शन लिया जा रहा है।
उज्ज्वल दत्ता ने कहा-कुछ अधिकारी तो ऐसे है, जिनका ट्रांसफर आदेश निकलने के बाद भी उन्हें अन्यत्र नहीं भेजा गया। वरन उन्हें नगर सेवा विभाग में ही रखा गया। यूनियन ने प्रबंधन के साथ हुए उच्च स्तरीय बैठक में लगातार नगर सेवा विभाग के एक अधिकारी के बारे में शिकायत किया गया, उसके उपरांत भी उक्त अधिकारी पर कार्यवाही के स्थान पर ऐसे अधिकारी को प्रमोशन देकर महिमा मंडित किया गया।
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और उन्हें और भी महत्वपूर्ण स्थान दिया गया। नगर सेवा विभाग का ये हाल है कि अधिकारी संयंत्र कर्मियों से सीधे मुंह बात तक नहीं करते। आम कर्मी अपनी समस्या के लिए मिलना चाहते हैं, पर मिलते तक नहीं हैं। परंतु इन अधिकारियों को अगर सेवा विभाग में बरसों से काबिज रखा जाता है, उनका स्थानांतरण तक नहीं किया जाता है।
जिस कर्मचारी के ऊपर कार्रवाई किया गया है, उसके संबंध में अधिकारी का यह कहना कि दोषी कर्मचारी से तीन माह से कोई कार्य ही नहीं लिया जाता था। आश्चर्य जनक है। तो क्या दोषी कर्मचारियों को बिना काम के ही वेतन दिया जा रहा था या फिर उसे और कौन से काम में लगा रखा गया था। इसका स्पष्टीकरण होना चाहिए।
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नगर सेवा विभाग के अधिकारी अपने कर्मचारियों को कार्य बांटने में सक्षम नहीं
नगर सेवा विभाग के कई कर्मचारियों ने अपने कार्य के लिए अपने जान की बाजी लगा दी और कर्मचारी कई सारे न्यायालय प्रकरण में लिप्त होकर न्यायालय का चक्कर लगा रहे हैं। ऐसे कर्मचारियों पर भी रातों-रात कार्यवाही कर उनके कर्तव्य निष्ठा पर भी प्रश्न चिन्ह लगा दिया गया है।
रातों-रात किए गए नगर सेवा विभाग के कार्यवाही से मात्र ऐसा प्रतीत हो रहा है कि विभाग अपनी साख को बचाने के लिए इस प्रकार की कार्रवाई कर रहा है, जबकि नगर सेवा विभाग में परिवर्तन और सुधार की आवश्यकता है।
नगर सेवा विभाग (Municipal Services Department) सबसे पहले अपने अधिकारियों से निर्देशित करें कि वह कर्मचारियों और यूनियन के पदाधिकारी के साथ सीधे संवाद स्थापित करें। और जिससे कि उनसे मिलने के लिए किसी बिचौलिया की आवश्यकता ना पड़े। कर्मचारियों की समस्या का समाधान सीधे हो सके। तभी नगर सेवा विभाग में भ्रष्टाचार को लगाम लगेगी और कर्मचारियों एवं यूनियन का भी सम्मान रह पाएगा।
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